(Blennenteria / Leukorrhea) श्वेत प्रदर का आयुर्वेद उपचार


(Blennenteria /  Leukorrhea) श्वेत प्रदर क्या है ?



Blennenteria और Leukorrhea (ल्यूकोरिया)  एक ही बीमारी है जिसे हिंदी में श्वेत प्रदर कहते है इसका इलाज अगर नहीं किया गया तो ये गंभीर रूप ले सकता है ये महिलाओ में होने वाली बीमारी है ये किसी भी उम्र की औरत को हो सकती है श्वेत प्रदर महिलाओ में आम होने वाली बीमारी है ये लगभग हर देश में श्वेत प्रदर के मरीज आपको मिलेंगे श्वेत प्रदर से तात्पर्य है की जब महिलाओ या स्त्री की योनी से ज्यादा मात्रा में सफ़ेद, लेसदार, झाग के रूप में बदबूदार  पानी निकलता है, उसे ही श्वेत प्रदर का रोग कहते है इसे सामान्य भाषा में सफ़ेद पानी का होना कहते है इस रोग के कारन महिलाए कमजोर हो जाती है
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Leukorrhea (ल्यूकोरिया) यानी श्वेत प्रदर निम्न प्रकार के होते है 

1 बच्चेदानी में होने वाले दाने के कारन 2 नॉर्मल पीरियड से पहले होता है
3 बच्चेदानी का कैंसर से होता है


(Blennenteria /  Leukorrhea) श्वेत प्रदर होने के कारन 

1 भोजन में ज्यादा मात्रा में खटाई, लाल मिर्च, प्याज और तले चीजो को सेवन करने से भी ये रोग होता है
2 मांस और अंडा का सेवन करने से
3 हर समय मन में सेक्स का विचार रखने से
4 योनी का सही तरीके से सफाई न करना भी एक मुख्य कारन है
5 ज्यादा संभोग यानि सेक्स करने से भी ये होता है
6 माशिक धर्म आने पर शुरुआती एक या दो दिन में नहाने से भी श्वेत प्रदर होता है
7 गलत पोजीशन में सेक्स करने से
8 ज्यादा उपवास करने से भी ये होता है
9 ये गर्व पात कराने से भी होता है
10 डायबिटीज के कारन या कोई अन्य कमजोरी के कारन श्वेत प्रदर होता है
11 श्वेत प्रदर का कारन आयुर्वेद के अनुसार ये भी है की मासिक श्राव के दोरान गंदे कपडे का उपयोग करना 
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कई अन्य रोगों के कारन ही श्वेत प्रदर का रोग होता है एक तरह से हम कह सकते है की यह कोई रोग नहीं है, बल्कि योनी के अन्य रोग या गर्भाशय में होने वाली रोग का शुरुआती लक्षण भी हो सकते है

(ल्यूकोरिया) Leukorrhea Symptoms | श्वेत प्रदर के सामान्य लक्षण 

1 सर में दर्द और चिडचिडापन
2 कमर और हाथ -पैर में दर्द होना
3 योनी में खुजलाहट होना
4 कमजोरी बना रहना और चक्कर का आना
5 इस रोग में शारीर भारी लगता है
6 इस रोग से ग्रसित महिलाओ का चेहरा पिला पड़ने लगता है
7 इस रोग में बार-बार पेशाब का आना
8 मन का मचलना भी एक लक्षण है
9 इस बीमारी में रोगी के आँखों के सामने अँधेरा सा छा जाता है
10 कब्ज का होना भी एक कारन है

Leukorrhea (ल्यूकोरिया) श्वेत प्रदर का आयुर्वेदिक उपचार 




1 गूलर का उपयोग कर सकते है सुबह और शाम 5 ग्राम गूलर  पानी के साथ ले सकते है
2 आप अपने आहार में हरी सब्जी और फल को शामिल करे
3 लगभग 250 मिलीमीटर पानी में लगभग 30 ग्राम आवला को रख दे और रात भर क लिए छोड़ दे फिर सुबह पानी को छान ले और एक चम्मच शहद और खांड को मिलाकर पिए आपको फायदा होगा
4 गरम चावल का पानी (जिसे माड़ कहते है) पीने से इस रोग में लाभ होता है
5 मैथी दाना लगभग चार चम्मच एक लिटर पानी में उबाल ले जब आधा हो जाये फिर उसे छान कर ठंडा कर के पिये आपको आराम मिलेगा
6 पके हुए आम के गुदे को महिलाए अपनी योनी में लगाये आपको लाभ मिलेगा
7 दूध और घी का सेवन करे
8 पुश्यनुगा चूर्ण के साथ आप अशोकारिष्ट को भी पानी के साथ ले सकते है ये अत्यंत लाभकारी है
9 त्रिफला का उपयोग भी आप कर सकते है लगभग 12 ग्राम त्रिफला चूर्ण को आधा लिटर पानी में मिला ले और उस पानी को अपनी योनी में छींटे मारे
10 एक लिटर पानी में 5-6 ग्राम खाने का सोडा मिला ले और उस पानी का छींटा अपनी योनी में मारे
11 कुछ दिनों के लिए मंशाहार से दुरी बना ले




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